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एक महीने से फर्जी टीटीई कर रहा था टिकट चेक,एक्सप्रेस में पकड़ा गया

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ग्वालियर। बुंदेलखंड एक्सप्रेस के जनरल कोच में शुक्रवार को यात्रियों के टिकट चेक करते हुए एक फर्जी टीटीई (ट्रेवलिंग टिकट एग्जामिनर) पकड़ा गया है। पकड़े गए युवक ने अपना नाम नरेश बंजारा निवासी श्योपुर बताया है। उसके पास से रेलवे के दो आईडी कार्ड भी मिले हैं, इनमें एक मध्य रेलवे और दूसरा उत्तर रेलवे का है।
खास बात यह है कि वह एक महीने पहले तक मथुरा-दिल्ली और आगरा के बीच ट्रेन में यात्रियों के टिकट चेक करता रहा, लेकिन रेलवे के अधिकारियों सहित जीआरपी व आरपीएफ इसे पकड़ नहीं सके। एक यात्री को शंका हुई तो उसने रेलवे कंट्रोल को सूचना दी, तब उसे पकड़ा गया है।
आरपीएफ की पूछताछ में श्योपुर निवासी आरोपी ने अपना नाम नरेश बंजारा बताया है। शुक्रवार को दतिया से ग्वालियर के बीच जनरल कोच में वह यात्रियों के टिकट चेक कर रहा था। एक यात्री को उस पर संदेह हुआ तो उसने रेलवे कंट्रोल को शिकायत की। वहां से आरपीएफ को सूचना दी गई।
इस पर आरपीएफ के उपनिरीक्षक रविंद्र सिंह राजावत, प्रधान आरक्षक नत्थीलाल शर्मा, आरक्षक मानसिंह मीणा व डिप्टी सीटीआई एसके मिश्रा बुंदेलखंड एक्सप्रेस के ग्वालियर आने पर कोच में पहुंचे और फर्जी टीटीई बने नरेश को पकड़ लिया। आरोपी का कहना है कि वह ग्वालियर से दिल्ली के रूट पर पिछले 15 दिन से ट्रेनों में चल रहा था।
फर्जी टीटीई के ट्रेन में यात्रियों के टिकट चेक करने और जीआरपी व आरपीएफ को इसकी भनक न लगने से इन दोनों के खुफिया तंत्र फेल साबित हो रहा है। आरोपी न तो रेलवे के स्टाफ की पकड़ में आया न आरपीएफ और जीआरपी को ही उसकी भनक लगी। आरोपी का कहना है मेरी रेलवे में नियुक्ति करने वालों ने कहा था कि आपकी नौकरी पक्की हो गई है, लेकिन शुरुआत में ट्रेनिंग करना पड़ेगी।
इसके चलते वह ट्रेनों में टीटीई के तौर पर टिकट जांच कर रहा था। आराेपी ने 7 लाख रुपए देने के बाद नियुक्ति पत्र मिलना बताया है, इससे आशंका है कि रेलवे में बेरोजगारों को नौकरी दिलाने के नाम पर ठगने वाला गैंग सक्रिय है। इसके तार ग्वालियर से लेकर दिल्ली तक जुड़े हो सकते हैं। आरपीएफ के टीआई संजय आर्या का कहना था कि कार्रवाई के लिए जीआरपी को सुपुर्द कर दिया है।
"बुंदेलखंड एक्सप्रेस के जनरल कोच से पकड़े गए फर्जी टीटीई के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया है। आरोपी से पूछताछ की जा रही है। पूछताछ के बाद ही पता चल सकेगा कि उसकी नियुक्ति किसने की थी।"
- एनएस ठाकुर, एसआई, जीआरपी
आरोपी का कहना है श्योपुर में घर होने के कारण दिल्ली में बैठे अफसरों से मैंने ग्वालियर भेजने की बात की, जिस पर मुझे ग्वालियर में टिकट चेक करने के लिए भेज दिया गया। उसके पास नियुक्ति पत्र भी है, जिसके एवज में उससे 7 लाख रुपए भी वसूले गए हैं। ये रुपए किसने लिए और लेनदेन किसके माध्यम से हुआ, दिल्ली में बैठे अफसर कौन हैं? ऐसे कई सवालों पर आरोपी चुप है।

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शादी से पहले फरार हुई दुल्हन, बरात वापस लेकर लौटा दूल्हा
खंडवा। ठगोरी दुल्हन ने इंदौर के बेटमा में रहने वाले एक युवक को अपना शिकार बनाया। दूल्हे ने उसके साथ सात फेरे लेने के सपने देखे थे, लेकिन उसके सपने पर पानी फिर गया।
बिना दुल्हन के ही उसे बरातियों के साथ वापस लौटना पड़ा। वह बरातियों के साथ सज-धज कर दुल्हन के घर पहुंचा था लेकिन यहां उसे ताला लगा हुआ मिला। पता चला कि दुल्हन अपने पिता के साथ दो दिन पहले ही किराए का मकान खाली कर चली गई है।
मामला आनंदनगर क्षेत्र के बसंत नगर का है। यहां इंदौर के बेटमा निवासी दीपक पुत्र मूलचंद परमार बरातियों के साथ पूजा नाम की युवती से शादी करने पहुंचा था।
बस के पर दीपक संग पूजा का बैनर लगाए जब बरात पूजा के घर पहुंची तो यहां ना तो मंडप था ना ही शादी जैसा कोई माहौल था। घर पर ताला लगा हुआ था। यह देख दूल्हे और बरातियों के होश उड़ गए।
दूल्हे और उसके परिवार ने आसपास के लोगों से पूछताछ की तो उन्होंने बताया कि दो दिन पहले ही पूजा ने यह घर खाली कर दिया। वह अपने पिता के साथ यहां रहती थी। यहां से बारातियों के साथ दीपक तलवार लेकर रामेश्वर चौकी पहुंचा।
दूल्हे दीपक ने बताया कि उसका एक दोस्त दीपक है। वह दोनों साथ में काम करते हैं। उसकी पत्नी ने खंडवा के बसंत नगर में शादी के लिए लड़की दिखाई थी। 2 जून को परिवार के साथ वह खंडवा आया था।
लड़की पूजा उसे पसंद आई थी। इसके बाद वे वापस घर आ गए। 4 जून को फोन पर रिश्ते की बात तय हुई थी। 11 जून को बसंत नगर में पूजा के घर सगाई करने पहुंचे, लेकिन पूजा घर में नहीं थी। उसके पिता राहुल कास्डे ने बताया कि वह मामा के घर गई है। शादी की तारीख 23 जून तय हुई थी।
शादी करने से पहले पूजा के पिता राहुल ने 70 हजार रुपये की मांग की। उसने कहा कि रुपये देने पर ही शादी होगी। उसने अपने मोबाइल से 70 हजार रुपये राहुल के बैंक खाते में डाल दिए।
इसके साथ ही दस हजार रुपये का शादी का जोड़ा दे दिया। वह आज बारात लेकर आया तो देखा घर में ताला लगा हुआ है। मकान मालिक से पूछताछ की तो उनसे पूजा के पिता का आधार कार्ड मिला। इसमें उसका नाम राहुल की जगह परसराम यादव लिखा हुआ था। तब उसे समझ आया कि उसके साथ धोखा हुआ है।
इसलिए वह राहुल उर्फ परसराम और पूजा की शिकायत लेकर चौकी आया। यहां दोनों की शिकायत कर केस दर्ज करने की मांग की। चौकी प्रभारी रणवीर सिंह सोलंकी ने बताया कि शिकायत के आधार पर जांच की जा रही है। जांच में पाए गए तथ्यों के आधार पर आगे की कार्रवाई की जाएगी।
दूल्हा बने दीपक का कहना है कि हमने शादी की पूरी तैयारी कर ली थी। शादी लगने के एक दिन पहले रिवाज के अनुसार गांव में बारात निकाली। इसमें सभी लोग जमकर नाचे।
इस दिन पूजा के पिता राहुल का फोन आया था। उनका कहना था कि पूजा के दादा की मौत हो गई है। इसलिए अब पांच दिन बाद ही बारात लेकर आना। हमने कहा बारात निकल गई है। बिना दुल्हन के घर नहीं जा सकते।
इसलिए हम बारात लेकर आ रहे हैं। आपके दु:ख में भी शामिल होकर वहीं रुककर दुल्हन को साथ ले आएंगे। इसके बाद उन्होंने फोन रख दिया। बारात खंडवा आने पर भी उनकाे फोन किया था, लेकिन मोबाइल बंद था।
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लग्जरी कार से आते थे चोरी करने, पुलिस ने आठ आरोपितों को किया गिरफ्तार
खंडवा । लग्जरी कार से चोरी करने वाला अंतरराज्यीय गिरोह पुलिस के हाथ लगा है। पुलिस ने आठ आरोपितों को गिरफ्तार किया है। आरोपित पहले जगह का तय करते थे, फिर रैकी करके वारदात को अंजाम देते थे। ये अपने साथ सब्बल, टामी, चाकू, लोहे की राड, टार्च और गुलेल रखते थे। सभी आरोपित नीमच जिले के ग्राम बरड़िया के रहने वाले हैं। इन्होंने शहर के तीनों थाना क्षेत्रों के सात मकानों में चोरी करना कुबूल किया है। आरोपितों से 1.96 लाख रुपये और सोने-चांदी के 21 आभूषण बरामद किए गए हैं। आरोपितों की लग्जरी कार भी जब्त की गई है।
शुक्रवार को पुलिस कंट्रोल रूम में नगर पुलिस अधीक्षक पूनमचंद यादव की उपस्थिति में अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक सीमा अलावा ने मीडिया को बताया-पिछले कुछ दिनों से कोतवाली, मोघट और पदमनगर थाना क्षेत्र में चोरी की वारदातें हुई थीं। घटनाओं पर रोक लगाने के लिए रात में गश्त बढाने के साथ ही बदमाशों को पकड़ने में लगा दिया था। इस बीच शुक्रवार को सुबह सूचना मिली कि इंदौर रोड पर किशोर कुमार समाधि के पीछे श्मशान घाट के पास झाड़ियों में कुछ संदिग्ध बैठे हैं।
आरोपितों का अंतरराज्यीय गिरोह है। अब तक आरोपितों ने राजस्थान, महाराष्ट्र और मध्य प्रदेश में चोरी की वारदातों को अंजाम दिया है। नीमच, रतलाम, जावरा और राजगढ़ में चोरी और लूट की घटनाएं की हैं। इसके अलावा अन्य जिलों में लूट, चोरी, नकबजनी, डकैती और आबकारी एक्ट के मामलों में भी केस दर्ज हैं। मोघट थाने में दो, पदमनगर में दो और कोतवाली क्षेत्र में तीन चोरी की वारदात करना कुबूल किया है। आरोपितों को जिला न्यायालय में पेश कर तीन दिन की रिमांड पर लिया है।
नीमच जिले के ग्राम बरड़िया निवासी धर्मेंद्र उर्फ गोलू पुत्र रोडीलाल मालवीय, अक्षय उर्फ भोला पुत्र मुकेश गुर्जर, विनीत उर्फ अंकुश पुत्र गणपत मालवीय, मुन्ना पुत्र शीशराम मालवीय, मनीष गौड़, रोहित गौड़, अंकित पुत्र भगतराम मालवीय, सुरेंद्र शांतिराम गौड़ को गिरफ्तार किया है।