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किडनैपिंग और वसूली को लेकर 2 IPS, 3 DSP समेत 19 लोगों के खिलाफ FIR दर्ज

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अहमदाबाद। 9 साल पुराने किडनैपिंग और जबरन वसूली के एक मामले में 6 पुलिस अफसरों समेत 19 लोगों के खिलाफ CID ने FIR दर्ज की है। इनमें दो रिटायर्ड IPS, 3 DSP, एक सब-इंस्पेक्टर और कच्छ के इलेक्ट्रोथर्म कंपनी के डायरेक्टर्स और कर्मचारियों के नाम शामिल हैं।
मामला गुजरात का है। गुजरात की CID के मुताबिक, कच्छ जिले के गांधीधाम के रहने वाले परमानंद सीरवानी ने दिसंबर 2015 में इलेक्ट्रोथर्म कंपनी के अधिकारियों और 11 लोगों के खिलाफ पुलिस में शिकायत की थी। पुलिस ने इस पर कार्रवाई नहीं कि तो सीरवानी ने गुजरात हाईकोर्ट में याचिका लगाई थी।
हाईकोर्ट ने 10 अक्टूबर 2019 को इस मामले में FIR दर्ज करने का आदेश दिया था, लेकिन आरोपी तब सुप्रीम कोर्ट से स्टे ऑर्डर ले आए थे। 16 जनवरी को सुप्रीम कोर्ट ने हाईकोर्ट के आदेश से रोक हटा ली। इसके बाद 19 लोगों के खिलाफ कच्छ CID ने FIR दर्ज की।
यह पूरा मामला?-शिकायतकर्ता परमानंद शिरवानी ने अपनी याचिका में लिखा है कि वे 2011 में कच्छ की इलेक्ट्रोथर्म कंपनी में काम करते थे। कुछ समय बाद उन्होंने नौकरी से इस्तीफा दे दिया था। लेकिन, कंपनी नहीं चाहती थी कि वे नौकरी छोड़ें। कंपनी के मालिकों शैलेश भंडारी और अनुराग भंडारी इस्तीफा लेने से इनकार करते रहे।
इसके बाद कंपनी मालिकों ने उन्हें भरोसे में लेकर कंपनी का डायरेक्टर बनाने की बात कही। उन्हें अपने नाम पर एक फर्म खोलने के लिए अहमदाबाद बुलाया गया। जब वे अहमदाबाद पहुंचे तो कंपनी के डायरेक्टर्स ने अपने कर्मचारियों की मदद से उन्हें बंधक बना लिया।
इसके बाद उन्हें कंपनी के बंगले, ऑफिस, फार्म हाउस समेत अलग-अलग जगहों पर रखा गया। इस दौरान एक महिला के जरिए उनसे जबर्दस्ती सादे कागजों पर उनकी संपत्ति साइन करवा ली थी। इतना ही नहीं, जान से मारने की धमकी देकर उनके घर से कैश 20 लाख रुपए और 10 लाख रुपए कीमत की ज्वेलरी भी ले ली गई थी।
शिरवानी ने बताया कि इसके बाद भी परेशानी खत्म नहीं हुई थी। 2015 से मैं आरोपियों के खिलाफ पुलिस थाने और अफसरों के चक्कर लगाता रहा। लेकिन, पुलिस अफसरों की कंपनी मालिकों से मिलीभगत के चलते मामला दर्ज ही नहीं हो सका।
6 दिसंबर 2015 और 4 फरवरी 2016 के बीच मैंने संबंधित पुलिस अधिकारियों से संपर्क किया था। उनके चुप रहने के बाद मैंने गुजरात हाई कोर्ट का दरवाजा खटखटाया। कोर्ट ने 10 अक्टूबर 2019 को इस मामले में FIR दर्ज करने का आदेश दिया था। लेकिन, आरोपी तब सुप्रीम कोर्ट से स्टे ऑर्डर ले आए थे।
2015 से शुरू हुए इस पूरे मामले में सबूतों के साथ अपहरण और जबरन वसूली की गंभीर शिकायतें देने के बावजूद पूर्व कच्छ-गांधीधाम के तत्कालीन SP जीवी बारोट, IPS भावनाबेन पटेल, तीन DSP डीएस वाघेला, विजय गढ़वी और आरडी देसाई व पुलिस इंस्पेक्टर एमके चौहान लगातार क्लोजिंग रिपोर्ट देते रहे कि ऐसा कुछ हुआ ही नहीं था। मामला हाई कोर्ट तक पहुंचने के बाद भी पुलिस कंपनी के अधिकारियों को बचाने की कोशिश में लगी रही।
CID ने जाचं प्रभावित होने का हवाला देकर केस में पुलिस अधिकारियों की भूमिका बताने से इनकार कर दिया। आरोपियों के खिलाफ धारा 406 (आपराधिक विश्वासघात), 420 (धोखाधड़ी), 323 (स्वेच्छा से चोट पहुंचाना), 347 और 348 (गलत कारावास और जबरन वसूली), और 364 (हत्या के लिए अपहरण) सहित अन्य धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया है।
इनके खिलाफ दर्ज की गई है FIR:-
तत्कालीन एसपी, जी.वी. बड़ौत
तत्कालीन एसपी, भावनाबेन पटेल
तत्कालीन डीवाईएसपी वीजे गढ़वी
तत्कालीन डीवाईएसपी डीएस वाघेला
तत्कालीन डीवाईएसपी आर.डी.देसाई
तत्कालीन पीएसआई एनके चौहान
संजय जोशी, मानव संसाधन महाप्रबंधक
बलदेव रावल, सुरक्षा प्रभारी अहमदाबाद
इलेक्ट्रोथर्म कंपनी के मालिक शैलेश भंडारी
इलेक्ट्रोथर्म कंपनी के मालिक अनुराग मुकेश
आईटी कंपनी का सिक्योरिटी ऑफिसर
अमित पटवारिका, अहमदाबाद
हितेश सोनी, अहमदाबाद
श्रीधर मूलचंदानी, अहमदाबाद
अनिल द्विवेदी, वडोदरा
बैंकट सोमानी, अहमदाबाद
महेंद्र पतीरा, अहमदाबाद
पवन गौर, अहमदाबाद
शिवम पोदार, गांधीधाम
केस दर्ज हो गया: एडिशनल डीजीपी
सीआईडी​क्राइम के एडिशनल डीजीपी राजकुमार पांडियन ने बताया कि हमने सभी 19 आरोपियों के खिलाफ शिकायत दर्ज कर ली है। पुलिस अधिकारियों के खिलाफ भी गंभीर धाराओं वाली शिकायतें हैं। इनमें गुजरात के 2 रिटायर्ड आईपीएस, 3 रिटायर्ड डिप्टी एसपी और एक पीएसआई शामिल है। इलेक्ट्रोथर्म के मालिक शैलेश भंडारी, उसके 8 कर्मचारियों और कंपनी के सिक्युरिटी ऑफिसर के खिलाफ भी मामला दर्ज किया गया है।
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राहुल गांधी ने वाराणसी में किया रोड शो, कहा - यात्रा के दौरान कभी नफरत नहीं देखी
वारणासी। कांग्रेस सांसद राहुल गांधी ने शनिवार को श्री काशी विश्वनाथ के दरबार में हाजिरी लगाई। उन्होंने अपनी भारत जोड़ो न्याय यात्रा की सफलता के लिए बाबा से कामना की। उत्तर प्रदेश में राहुल की यात्रा का आज दूसरा दिन है।
दर्शन-पूजन के बाद राहुल गांधी ने गोदौलिया चौराहे पर लोगों को संबोधित किया। राहुल ने कहा कि यात्रा के दौरान उन्होंने कभी नफरत नहीं देखी। यात्रा में भाजपा और संघ के लोग भी आए। उन्होंने हमसे अच्छे से बात भी की। यह देश तभी मजबूत होता है जब हम साथ मिलकर काम करते हैं। देश को एक साथ लाना ही सच्ची राष्ट्रभक्ति है। उन्होंने कहा कि अब तक 4,000 किलोमीटर की यात्रा की है। इस दौरान किसान, मजदूर, छोटे व्यापारी और महिलाएं मुझसे मिलीं। उन सबने अपनी पीड़ा बताई। देश में दो विचारधाराओं की लड़ाई है। एक विचारधारा भाई को भाई से लड़ाती है और आपकी जेब से पैसा निकालकर चुनिंदा अरबपतियों को दे देती है। दूसरी विचारधारा नफरत के बाजार में मोहब्बत की दुकान खोलती है और आपका हक आपको वापस लौटाती है।
इसके पहले राहुल की भारत जोड़ो न्याय यात्रा वाराणसी पहुंची। उत्तर प्रदेश के चंदौली जिले के पड़ाव से न्याय यात्रा जैसे ही गंगा नदी पर बने राजघाट पुल पर पहुंची, पार्टी के कार्यकर्ताओं ने हर-हर महादेव के गगनभेदी नारे से अपने नेता का गर्मजोशी से स्वागत किया। राजघाट पुल पर राहुल का काफिला पहुंचने के कुछ समय पहले कुछ युवकों ने काले झंडा लहराते हुए राहुल गांधी वापस जाओ के साथ जयश्री राम के नारे लगाए। हालांकि पुलिस की सक्रियता से प्रदर्शनकारी भाग खड़े हुए।
कड़ी सुरक्षा के बीच राहुल गांधी लाल रंग की खुली जीप पर सवार होकर राजघाट और भदउचुंगी से कज्जाकपुरा होते हुए गोलगड्डा पहुंचे। यहां पहले से ही हजारों की सख्या में जुटे कार्यकर्ताओं ने राहुल की अगवानी की। राहुल के साथ उत्तर प्रदेश के प्रभारी महासचिव अविनाश पांडेय, प्रदेश अध्यक्ष अजय राय, पूर्व सांसद डॉ राजेश मिश्र समेत कई प्रमुख नेता भी हैं। प्रदेश में राहुल की यात्रा का आज दूसरा दिन है।
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दरभंगा में मूर्ति विसर्जन दौरान बवाल, उपद्रवियों ने जमकर उत्पात मचाया, घरों-दुकानों में तोड़फोड़
दरभंगा।सदर थानाक्षेत्र के मुरिया गांव में गुरुवार को सरस्वती पूजा के विसर्जन जुलूस दौरान जमकर बवाल हुआ। अचानक छत से जुलूस पर रोड़ेबाजी होने लगी। इससे विसर्जन जुलूस में शामिल लोगों में अफरा-तफरी की स्थिति हो गई। सभी जान बचाने के लिए ट्रैक्टर में लदी मूर्ति को छोड़कर जैसे-तैसे भागने को मजबूर हो गए। बावजूद, दर्जन से अधिक लोग इसमें चोटिल हो गए। जबकि, कुछ लोगों के गंभीर रूप से जख्मी होने की भी सूचना है।
सभी को निजी अस्पताल में भर्ती कराया गया है। घटना की सूचना पर भालपट्टी ओपी पुलिस ने उपद्रवियों पर काबू करने की कोशिश की। हालांकि, उपद्रवियों की संख्या अधिक रहने से पुलिस को पीछे हटना पड़ा। इसमें अवर निरीक्षक ध्रुव चौधरी समेत कई पुलिसकर्मियों के घायल और चोटिल होने की बात कही गई है। इस बीच उपद्रवियों ने जमकर उत्पात मचाया। कई दुकानों में जमकर तोड़फोड़ की।
कई घरों में घुस कर लोगों की पिटाई की। पुरुष की बात तो दूर महिलाएं भी चोटिल और जख्मी हैं। घटना में काफी संपत्ति की क्षति होने की बात कही जा रही है। हालांकि, सूचना पर डीएम राजीव रोशन और वरीय पुलिस अधीक्षक जगुनाथ रेड्डी जलारेड्डी पूरे लाव लश्कर के साथ घटना स्थल पर पहुंचे। पूरे सड़क पर ईंट ही ईंट नजर आ रहा था। इसके बाद दंगा नियंत्रण दस्ता, बीएमपी, सीआइएटी दस्ता सहित कई थाने की पुलिस ने उपद्रवियों को खदेड़ दिया।
इसके बाद स्थिति को नियंत्रित किया गया। हालांकि, तनाव कायम है। इसे देखते हुए पुलिस कैंप कर रही है। उपद्रवियों की खोज में पुलिस ताबड़तोड़ छापामारी कर रही है। उधर, डीएम और एसएसपी ने दोनों पक्षों के लोगों से वार्ता की। जनप्रतिनिधियों और गणमान्य लोगों की मदद से सभी मूर्तियों को विसर्जन कराने में जुटे हैं। हालांकि, जुलूस में शामिल लोगों ने विसर्जन करने से पहले कार्रवाई की मांग पर अड़े हुए है। इसे देखते हुए मुरिया के ताली चौक रेलवे गुमटी चौक को लोगों ने जाम कर दिया है।
इससे सड़क पर 27 ट्रैक्टर पर मूर्तियां विसर्जन के लिए लाइन में खड़ी हैं। इसमें ट्रैक्टर की मदद से यातायात को अवरुद्ध कर दिया गया है। जुलूस में शामिल लोगों का कहना है कि उपद्रवियों ने उन लोगों पर रोड़ेबाजी की, मूर्तियां को क्षति पहुंचाई। दुकान और घर में लूटपाट की घटना को अंजाम दिया। दर्जन से अधिक लोग चोटिल और घायल हैं। इसमें राजेश साह को भर्ती कराया गया है।
नरेश साह की पत्नी पूनम देवी, कैलाश महतो, उनकी बहू सुनीता देवी और नीता देवी, करण यादव, सत्यनारायण चौधरी, राधा देवी, रुपा रानी, राजकुमार चौधरी, पवन चौधरी, सुधा देवी आदि कई लोग गंभीर रूप से चोटिल हैं। कहा है कि कैलाश महतो की बाइक को क्षतिग्रस्त कर दिया गया है। ऐसी स्थिति में दोषियों पर सख्त कार्रवाई करने की मांग की है। कहा कि गांव के मो. अफतार के छत से अचानक रोड़ेबाजी हुई । दर्जनों ने लोगों ने ताडंव मचाया। पुलिस वालों को भी नहीं छोड़ा।
उधर, डीएम राजीव रोशन ने कहा कि स्थिति नियंत्रण में है। दोनों पक्षों से वार्ता कर मूर्ति विसर्जन कराया जा रहा है। रोड़ेबाजी में कई घरों के एस्बेस्टस टूट गए हैं, इसकी जांच की जा रही है। जो भी दोषी होंगे उन पर कार्रवाई की जाएगी। उपद्रवियों की पहचान की जा रही है। दोषी चाहे जो हो उस पर हर हाल में कार्रवाई की जाएगी।