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भोपाल/सिवनी। मध्यप्रदेश पुलिस के इतिहास में एक बड़ा और शर्मनाक मामला सामने आया है। सिवनी जिले के हवाला लूटकांड में अब पुलिस के ही अफसरों पर डकैती और अपहरण का मामला दर्ज किया गया है। एसडीओपी पूजा पांडे, एसआई अर्पित भैयाराम और चार कांस्टेबल सहित कुल 11 पुलिसकर्मी अब इस मामले में आरोपी हैं।
मध्यप्रदेश के डीजीपी कैलाश मकवाना ने सभी आरोपियों पर भारतीय न्याय संहिता (BNS) की विभिन्न धाराओं में मामला दर्ज करने के आदेश दिए हैं। जांच के बाद SDOP समेत 6 पुलिसकर्मियों को गिरफ्तार कर लिया गया है, जबकि अन्य की तलाश जारी है।
घटना की शुरुआत 8 अक्टूबर 2025 को हुई थी, जब महाराष्ट्र के जालना निवासी सोहनलाल परमार अपने साथियों के साथ कटनी से करीब 3 करोड़ रुपए नकद लेकर जा रहा था। सूत्रों के मुताबिक, यह पैसा हवाला कारोबार से जुड़ा था। रास्ते में सिवनी जिले के बंडोल थाना क्षेत्र में पुलिस ने वाहन को चेकिंग के दौरान रोका और रकम बरामद कर ली। लेकिन मामला तब गंभीर हुआ जब पुलिस ने सरकारी रेकॉर्ड में केवल 1.45 करोड़ रुपए की जब्ती दिखाई, जबकि बाकी करीब 1.5 करोड़ रुपए कथित रूप से पुलिसकर्मियों ने आपस में बांट लिए।
जांच में खुलासा हुआ कि पुलिस और हवाला कारोबारियों के बीच रकम के बंटवारे की ‘डील’ भी चल रही थी। पुलिसकर्मी आधे-आधे पैसे (1.5-1.5 करोड़) बांटने की बात कर रहे थे, लेकिन हवाला व्यापारी केवल 45 लाख रुपए देकर मामला रफा-दफा करने को तैयार था। डील फेल होने के बाद मामला उजागर हो गया और विभागीय जांच शुरू हुई।
घटना सामने आने के बाद आईजी जबलपुर प्रमोद वर्मा ने मामले की प्रारंभिक जांच कराई। जांच रिपोर्ट में गंभीर अनियमितताएं सामने आईं। इस आधार पर डीजीपी कैलाश मकवाना ने 11 पुलिसकर्मियों के खिलाफ आपराधिक मामला दर्ज करने के निर्देश दिए। एसडीओपी पूजा पांडे को गिरफ्तार कर लिया गया है, जबकि अन्य आरोपियों की तलाश जारी है।
आईजी प्रमोद वर्मा ने बताया कि FIR दर्ज होने के बाद एसडीओपी पूजा पांडे, एसआई अर्पित सहित 6 पुलिसकर्मियों को पकड़ा है। आईजी का कहना है कि बाकी के फरार पुलिसकर्मियों को भी जल्द ही गिरफ्तार कर लिया जाएगा।
इन धाराओं में दर्ज हुआ केस
सिवनी जिले के लखनवाड़ा थाने में दर्ज अपराध क्रमांक 473/2025 के तहत निम्न धाराओं में केस दर्ज किया गया है-
धारा 310(2) - डकैती (Robbery)
धारा 126(2) - गलत तरीके से रोकना (Illegal Detention)
धारा 140(3) - अपहरण (Kidnapping)
धारा 61(2) - आपराधिक षड्यंत्र (Criminal Conspiracy)
ये सभी धाराएं गंभीर अपराधों के अंतर्गत आती हैं और दोष सिद्ध होने पर लंबी सजा का प्रावधान
मामले में केवल निचले स्तर के पुलिसकर्मी ही नहीं, बल्कि वरिष्ठ अधिकारियों की भूमिका पर भी सवाल उठे हैं। आईजी प्रमोद वर्मा ने सिवनी एसपी सुनील कुमार मेहता और एडिशनल एसपी दीपक मिश्रा को शो-कॉज नोटिस जारी किया है। इनसे पूछा गया है कि इतनी बड़ी रकम की बरामदगी की सूचना उन्होंने तत्काल वरिष्ठ अधिकारियों को क्यों नहीं दी।
इस मामले ने मध्यप्रदेश पुलिस की कार्यशैली पर बड़ा सवाल खड़ा कर दिया है। राज्यभर में यह चर्चा का विषय बन गया है कि जिन पर जनता की सुरक्षा की जिम्मेदारी थी, वही वर्दीधारी अपराधी बन बैठे। राज्य सरकार ने इस घटना को “गंभीर विश्वासघात” बताते हुए सख्त कार्रवाई के संकेत दिए हैं।

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किसान ने मांगा अपना अधिकार, तो तहसीलदार जड़ दिया थप्पड़, Video वायरल
सागर। सागर जिले के देवरी में सोमवार को कृषि उपज मंडी में खाद वितरण के दौरान तहसीलदार प्रीति चौरसिया द्वारा एक किसान को थप्पड़ मारने का मामला सामने आया है। जानकारी के मुताबिक खाद वितरण के पहले टोकन लेने के लिए उमड़ी भीड़ में से एक किसान का हाथ लगने पर तहसीलदार प्रीति चौरसिया नाराज हो गई और उन्होंने किसान को थप्पड़ मार दिया। तहसीलदार के इस रवैये से नाराज किसानों ने देवरी में हंगामा किया। एसडीएम मुन्नवर खान ने नाराज किसानों से बातचीत की और उन्हें समझा-बुझाकर मामला शांत कराया।
एसडीएम मुन्नवर खान का कहना है कि मंडी में यूरिया और डीएपी बांटा जा रहा है। कुछ लोग लाइन में लगने के लिए जोर जबरदस्ती कर रहे थे। राजस्व और पुलिस कर्मचारियों ने किसानों को समझा-बुझाकर लाइन में लगने को कहा। इसके बाद टोकन बांटे गए। वहीं एसडीएम का कहना है कि थप्पड़ मारने की बात गलत है।
देवरी तहसीलदार प्रीति चौरसिया ने कहा कि कल डबल लाक में खाद वितरण किया जा रहा था। खाद वितरण के दौरान किसानों की भीड़ बहुत हो गई थी। वे उग्र हो गए थे। आपस में धक्का मुक्की कर रहे थे। वे मेरे हाथ भी टोकन छीनने के प्रयास किया जा रहा था। उसे हाथ से रोका गया है। मेरे द्वारा किसी को थप्पड़ नहीं मारा गया।
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जेल वारंट कटते ही 2 नेता हुए बेहोशः नगर परिषद अध्यक्ष और मंडल अध्यक्ष अस्पताल में भर्ती
रायसेन। जिले के गैरतगंज नगर परिषद के अध्यक्ष जिनेश जैन और मंडल अध्यक्ष संजय जैन का जेल वारंट कटते ही दोनों नेता बेहोश हो गए। दोनों को तत्काल इलाज के लिए सिविल अस्पताल भेजा गया जहां प्राथमिक उपचार के बाद दोनों को रायसेन जिला अस्पताल रेफर किया गया है। रायसेन जिला अस्पताल में दोनों का इलाज जारी है।
बता दें कि जिनेश जैन और संजय जैन दोनों पर सरकारी डॉक्टर से ड्यूटी के दौरान मारपीट करने का मामला दर्ज हुआ था। इस घटनाक्रम में आज दोनों कोर्ट में पेश हुए लेकिन वहां से जेल वारंट कटते ही दोनों के होश उड़ गए और दोनों बेहोश हो गए। मामला 15 जून का है जब गैरतगंज बीएमओ डॉक्टर अनिष्ट लाल ने ड्यूटी के दौरान नगर परिषद अध्यक्ष जिनेश जैन का फोन नहीं उठाया था इस पर आग बबूला होते हुए दोनों नेताओं ने ड्यूटी के दौरान ही सिविल अस्पताल पहुंचकर डॉक्टर अनिष्ट लाल से मारपीट की थी।
डॉ अनिष्ट लाल की शिकायत पर गैरतगंज थाने में मामला दर्ज किया गया था। इस मामले में दोनों नेताओं पर धारा 121/3,धारा 296,धारा 351 / 3,धारा 3/5,धारा 3/4 और धारा 132 के तहत मामला दर्ज हुआ था। इसी मामले में दोनों नेता आज न्यायालय में पेश हुए थे जहां से उनका जेल वारंट कट गया था। रायसेन जिला अस्पताल में मौजूद ड्यूटी डॉक्टर आकाश चतुर्वेदी ने बताया कि दोनों नेताओं की तबीयत में पहले से सुधार और अब धीरे-धीरे दोनों नॉर्मल होते जा रहे हैं। और दोनों ही खतरे से बाहर है।

भोपाल। मालवा के किसानों के लिए सिरदर्द बने काले हिरण और नीलगाय को पकड़ने के लिए दक्षिण अफ्रीका से 15 सदस्यीय विशेषज्ञ टीम आज भोपाल पहुंच रही है। यह टीम 15 अक्टूबर से शाजापुर के कालापीपल क्षेत्र में हेलिकॉप्टर के जरिए हांका अभियान शुरू करेगी, जो 5 नवंबर तक चलेगा। अभियान के तहत पकड़े गए वन्यजीवों को मंदसौर के गांधी सागर सेंचुरी में स्थानांतरित किया जाएगा।
वन विभाग ने इसके लिए रॉबिन्सन हेलीकॉप्टर किराए पर लिया है। यदि यह पायलट प्रोजेक्ट सफल रहा, तो इसे पूरे मध्य प्रदेश में लागू किया जाएगा। यह अभियान किसानों की फसलों को नुकसान से बचाने और वन्यजीव संरक्षण के बीच संतुलन स्थापित करने की दिशा में महत्वपूर्ण कदम है।

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एचडीएफसी बैंक के 3 कर्मचारियों ने हड़पे गरीबों के 1. 28 करोड़ रुपए, मुआवजा में मिली थी राशि
सागर. एमपी के सागर में वीरांगना दुर्गावती टाइगर रिजर्व से विस्थापित हुए गरीब परिवारों को मुआवश्जा में मिले 1.28 करोड़ रुपए एचडीएफसी बैंक के तीन कर्मचारियों ने हड़प लिए. इस मामले में एचडीएफसी बैंक की रहली शाखा के तीन तत्कालीन कर्मचारियों पर 26 खाताधारकों के खातों से यह रकम हड़पने का आरोप है. इस मामले में बैंक प्रबंधन द्वारा की गई शिकायत के बाद आज पुलिस ने तीनों आरोपियों के खिलाफ धोखाधड़ी का मामला दर्ज कर लिया है. मामले में अभी और भी खातों की जांच चल रही है, जिससे घोटाले की रकम बढऩे की आशंका है.
खबर है कि वीरांगना दुर्गावती टाइगर रिजर्व से विस्थापित किए जा रहे परिवारों के लिए सरकार ने मुआवजा राशि देने के लिए एचडीएफसी बैंक की रहली शाखा में खाते खुलवाए थे. जब इन खातों में मुआवजा राशि भेजी गई तो बैंक के कर्मचारियों ने विस्थापितों की बिना अनुमति के एफडी करने के नाम पर उनकी बीमा पॉलिसी कर दीं. यहां तक कि कई लोगों से खाली चेक लेकर रुपए निकाल लिए गए. धोखाधड़ी का खुलासा उस वक्त हुआ है.
जब जब विस्थापित लोग रुपए निकालने बैंक पहुंचे तो पता चला कि उनके खातों में तो रुपया है ही नही. विस्थापितों के साथ की गई धोखाधड़ी सामने आने पर एसडीएम रहली व लीड बैंक प्रबंधक ने जांच कराई. कलेक्टर संदीप जीआर को सौंपी गई जांच रिपोर्ट में 26 खाताधारकों के खातों से 1 करोड़ 28 लाख 70 हजार रुपए की हेराफेरी की पुष्टि हुई. इसके बाद एचडीएफसी बैंक के हेड क्लस्टर ऑफिसर प्रभात सक्सेना ने रहली थाने में शिकायत की. जिसपर आधार पर पुलिस ने तत्कालीन कर्मचारी नितिन द्विवेदी, कार्तिक नायडू व राहुल भट्ट के खिलाफ मामला दर्ज किया है.
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बगैर टिकट ट्रेन में यात्रा करने वाले तीन आरोपितों को कोर्ट ने सुनाई 52 दिन की सजा
खंडवा। खंडवा में रेलवे टिकट के बिना यात्रा करना तीन लोगों को महंगा पड़ गया। विशेष रेलवे मजिस्ट्रेट की अदालत ने ऐसे तीन आरोपिताें को अर्थदंड के साथ 52 दिन के कठोर कारावास की सजा सुनाई है। यह पहली बार है जब इस प्रकार के मामलों में कोर्ट ने केवल जुर्माने तक सीमित न रहकर सख्त सजा का प्रावधान किया है।
जानकारी के अनुसार, बुरहानपुर निवासी शेख जाकिर, नासिर और मीनाक्षी को रेलवे अधिनियम की धारा 145 (अशोभनीय आचरण), 146 (रेलवे कर्मचारी के कार्य में बाधा) और 147 (बिना टिकट रेलवे परिसर में प्रवेश) के अंतर्गत दोषी पाया गया। तीनों आरोपित पूर्व में भी कई बार बिना टिकट प्लेटफार्म और ट्रेनों में यात्रा करते हुए पकड़े जा चुके हैं, लेकिन हर बार वे जुर्माना भरकर छूट जाते थे।
अधिवक्ता वीरेंद्र वर्मा ने बताया कि अदालत ने इस बार आरोपितों की लगातार दोहराई जा रही गतिविधियों को गंभीरता से लिया। कोर्ट ने माना कि बार-बार की गई अपराधी प्रवृत्ति के चलते अब केवल अर्थदंड पर्याप्त नहीं रह गया है। इसलिए इस बार न्यायालय ने तीनों आरोपितों को अर्थदंड के साथ-साथ 52 दिन की जेल की सजा भी सुनाई है। वहीं तीनों आरोपितों को जेल भी भेज दिया गया है।

अफगानिस्तान के विदेश मंत्री आमिर खान मुत्तकी भारत दौरे पर हैं. कई बैठकों में हिस्सा लेने के साथ ही वह सहारनपुर के देवबंद भी गए. मुत्तकी का देश में स्वागत हुआ, देवबंद में तो बड़ी संख्या में पहुंचे थे. इस पर गीतकार और कवि जावेद अख्तर ने सोशल मीडिया पर टिप्पणी की है और उनके स्वागत को लेकर आलोचना की है. इतना ही नहीं, उन्होंने कहा कि मेरा सिर्फ शर्म से झुक जाता है.
तालिबानी सरकार के मंत्री का भारत में भव्य स्वागत पर जावेद अख्तर ने सोशल मीडिया पर लिखा कि दुनिया के सबसे खूंखार आतंकवादी समूह तालिबान के प्रतिनिधि को हर तरह के आतंकवादियों के खिलाफ मंच पर बोलने वालों द्वारा दिए गए सम्मान और स्वागत को देखकर मेरा सिर शर्म से झुक जाता है. देवबंद को भी शर्म आनी चाहिए कि उसने अपने “इस्लामिक हीरो” का इतना सम्मानपूर्वक स्वागत किया, जो उन लोगों में से एक है जिन्होंने लड़कियों की शिक्षा पर पूरी तरह से प्रतिबंध लगा दिया है. मेरे भारतीय भाइयों और बहनों! हमारे साथ क्या हो रहा है?
शनिवार को अमीर खान मुत्तकी का देवबंद मदरसे में भव्य स्वागत किया गया, उनके अच्छी व्यवस्था की गई थी. 15 प्रमुख उलेमाओं (इस्लामी विद्वानों) की सूची जारी की गई थी और उनके आगमन के दिन पूरे इलाके में कड़ी सुरक्षा व्यवस्था की गई थी. मदरसे में प्रवेश के दौरान तालिबानी नेता पर पुष्पवर्षा भी की गई थी, इस दौरान बड़ी संख्या में लोग फोटो और वीडियो के लिए इकट्ठे हो गए थे.
इससे पहले मुत्तकी विदेश मंत्री एस जयशंकर से दिल्ली में मुलाकात की. बता दें कि 2021 से अफगानिस्तान की सत्ता संभालने के बाद से भारत और तालिबान के बीच ये पहली उच्च स्तरीय बैठक थी. संयुक्त राष्ट्र की तरफ से अफगानिस्तान के नेता प्रतिबंधों का सामना कर रहे हैं. संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद समिति से अस्थायी यात्रा छूट मिलने के बाद पिछले हफ्ते ही वह 6 दिवसीय भारत यात्रा पर आए.
बता दें कि नई दिल्ली में तालिबान की पहली प्रेस कांफ्रेंस में महिला पत्रकारों की एंट्री नहीं होने पर भी विवाद खड़ा हो गया था. इसके बाद खुद मुत्तकी ने बयान देकर कहा कि पहली प्रेस कांफ्रेंस में कुछ चुनिंदा लोगों को ही बुलाया गया था. यह सोच समझकर नहीं किया गया था इसके बाद जब उनकी दूसरी प्रेस कांफ्रेंस हुई तो कई महिला पत्रकार भी शामिल हुई थीं.
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हरियाणा ADGP वाई पूरण कुमार आत्महत्या मामला : राहुल गांधी पहुंचे घर, राज्य में बढ़ी हलचल
हरियाणा के आईपीएस अधिकारी वाई पूरण कुमार की आत्महत्या के बाद अब इस मामले ने राजनीतिक रूप ले लिया है। कांग्रेस नेता राहुल गांधी आज उनके परिवार से मिलने चंडीगढ़ पहुंचे हैं। इस दौरान राज्य में विरोध और प्रदर्शन की स्थिति को देखते हुए हरियाणा सरकार ने अलर्ट जारी कर दिया है।
राहुल गांधी मंगलवार को आईएएस अमनीत पी कुमार (एडीजीपी पूरण कुमार की पत्नी) के घर पहुंचे। उनके साथ भूपेंद्र सिंह हुड्डा और राव नरेंद्र सिंह भी मौजूद रहे। राहुल गांधी ने परिवार को सांत्वना दी और कहा कि कांग्रेस पार्टी इस मुश्किल समय में परिवार के साथ खड़ी है। मुलाकात के बाद राहुल गांधी सीधे एयरपोर्ट रवाना हो गए।
राहुल गांधी चंडीगढ़ एयरपोर्ट पर पहुंचे, जहां भूपेंद्र सिंह हुड्डा और अमरिंदर सिंह राजा वड़िंग ने उनका स्वागत किया। एयरपोर्ट से वे सीधे सेक्टर 24 स्थित एडीजीपी निवास पहुंचे, जहां उन्होंने दिवंगत अधिकारी को श्रद्धांजलि दी।
एडीजीपी वाई पूरण कुमार की आत्महत्या के बाद हरियाणा सरकार ने डीजीपी बदला है। आईपीएस ओमप्रकाश सिंह को नया कार्यकारी डीजीपी नियुक्त किया गया है। ओमप्रकाश सिंह दिवंगत अभिनेता सुशांत सिंह राजपूत के जीजा हैं। वहीं, डीजीपी शत्रुजीत कपूर को देर रात लंबी छुट्टी पर भेज दिया गया।
नगर पालिका कर्मचारी संघ हरियाणा ने वाई पूरण कुमार के परिवार के समर्थन में राज्यभर में प्रदर्शन करने की घोषणा की है। संघ के राज्य प्रधान नरेश शास्त्री ने बताया कि एक प्रतिनिधि मंडल सेक्टर 24 स्थित आवास पर जाकर परिवार से मिलेगा। सांत्वना देने के बाद आंदोलन की रणनीति तय की जाएगी और जरूरत पड़ने पर बड़ा फैसला लिया जाएगा।
वाई पूरण कुमार की आत्महत्या के बाद विरोध प्रदर्शनों की आशंका के चलते हरियाणा सरकार ने राज्यभर में अलर्ट जारी किया है। मुख्य सचिव कार्यालय की ओर से सभी डीसी, एसपी, आईजीपी और पुलिस आयुक्तों को निर्देश दिए गए हैं कि राज्य में कानून-व्यवस्था और साम्प्रदायिक सौहार्द बनाए रखें।
सरकार ने कहा है कि पूर्ण कुमार की मौत से सामाजिक तनाव बढ़ सकता है, इसलिए अधिकारी हर जिले में सामुदायिक नेताओं और स्थानीय संगठनों से समन्वय बनाए रखें और हालात पर नजर रखें। साथ ही, किसी भी उकसाने वाली गतिविधि पर तुरंत कार्रवाई करने और स्थिति की नियमित रिपोर्ट भेजने के निर्देश दिए गए हैं।
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गरजे CDS अनिल चौहान: कहा- परमाणु धमकी के आगे नहीं झुकेगा भारत, ‘न्यू नॉर्मल’ के बताए मायने
ग्वालियर। ग्वालियर में सिंधिया स्कूल का 128वां स्थापना दिवस समारोह आयोजित हुआ। इस कार्यक्रम में देश के चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ जनरल अनिल चौहान मुख्य अतिथि के रूप में शामिल हुए। केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया स्कूल के बोर्ड ऑफ गवर्नर के प्रेसिडेंट होने के नाते वह भी मौजूद रहे। वहीं CDS ने छात्रों को संबोधित करते हुए ऑपरेशन सिंदूर के बारे में बताया। साथ ही किस तरह युद्ध के मैदान के साथ ही खेल के मैदान में भारत ने हमेशा पाकिस्तान को सबक सिखाया है, उन्होंने मंच से ऐलान किया कि भारत परमाणु धमकी के आगे नहीं झुकेगा।
सोमवार को ग्वालियर फोर्ट स्थित स्कूल परिसर में सिंधिया स्कूल का 128वां स्थापना दिवस समारोह मनाया गया। इस कार्यक्रम में भारत के चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ जनरल अनिल चौहान मुख्य अतिथि शामिल हुए। CDS अनिल चौहान ने अपने संबोधन में ऑपरेशन सिंदूर के बारे में चर्चा शुरू करते हुए कहा कि समाज के सभी वर्गों को, छात्रों सहित राष्ट्र की सुरक्षा से जुड़े मुद्दों में गहरी रुचि लेनी चाहिए। मैं अपनी बात की शुरुआत “न्यू नॉर्मल” (New Normal) शब्द से करना चाहता हूं, जिसे हाल के समय में हमारे प्रधानमंत्री, रक्षा मंत्री और पूर्व विदेश सचिव ने भी कई बार उपयोग किया है।
“न्यू नॉर्मल” का अर्थ है कि किसी संकट के बाद बना हुआ नया परिवेश, जहां नए नियम बनते हैं, ताकि भविष्य में उस संकट से बेहतर तरीके से निपटा जा सके या उसे टाला जा सके। संकट के बाद की स्थिति, पूर्व स्थिति से सदैव भिन्न होती है।इस तरह के “न्यू नॉर्मल” के कई उदाहरण हमारे हाल के इतिहास में हैं, जैसे…
नोटबंदी के बाद डिजिटल भुगतान को जो बढ़ावा मिला, उसने हमारी अर्थव्यवस्था की संरचना ही बदल दी।
कोविड महामारी ने “वर्क फ्रॉम होम”, सामाजिक दूरी, मास्क, सैनिटाइज़र जैसी नई व्यवस्थाओं को जन्म दिया।
गलवान संघर्ष के बाद भारत और चीन के बीच एलएसी पर नए व्यवहार और नियम बने।
CDS ने बताया कि सुरक्षा के क्षेत्र में जो नया “न्यू नॉर्मल” उभरा है, वह हमारे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के निर्धारित कुछ मूलभूत सिद्धांतों पर आधारित है:
बातचीत और आतंकवाद साथ-साथ नहीं चल सकते।
अगर बातचीत होगी, तो केवल आतंकवाद पर होगी।
पानी और खून एक साथ नहीं बह सकते।
आतंकवादी केवल प्रॉक्सी (proxy) होंगे, लेकिन उनके हैंडलर्स भी समान रूप से जिम्मेदार माने जाएंगे।
सीमा पार से आतंकवाद का उचित जवाब मिलेगा।
भारत परमाणु धमकी के आगे नहीं झुकेगा।
अनिल चौहान ने कहा कि ये सिद्धांत न केवल हमारी राष्ट्रीय सुरक्षा नीति को परिभाषित करते हैं, बल्कि पाकिस्तान से हमारे भविष्य के संबंधों को भी प्रभावित करते हैं। यह नया “न्यू नॉर्मल”, पाकिस्तान की राजनीति और सैन्य नीतियों में व्यवहार परिवर्तन लाने का एक प्रयास है, ताकि वह आतंकवाद को राज्य नीति का औजार बनाना बंद करे। लेकिन यह तभी संभव है जब इस नए “न्यू नॉर्मल” के प्रभाव पाकिस्तान को स्पष्ट रूप से दिखें। चाहे वह हमारे सैन्य सिद्धांतों, युद्ध संरचना, बलों की तैनाती या रणनीतिक रणनीति में हो।
सीडीएस ने आगे कहा कि सैन्य कार्रवाइयों के साथ-साथ यह राजनयिक, सामाजिक और सांस्कृतिक स्तरों पर भी समान दृष्टिकोण की मांग करता है। क्रिकेट के क्षेत्र में भी, एशिया कप के बाद भारतीय टीम की प्रतिक्रिया-एक संदेश था, शायद उसी “न्यू नॉर्मल” का हिस्सा। थोड़ा हल्के अंदाज़ में कहें, तो पाकिस्तान को हर क्षेत्र में, चाहे खेल हो या सुरक्षा-निर्णायक रूप से हराना भी अब “न्यू नॉर्मल” बन गया है।
इसमें काइनेटिक (बल प्रयोग वाले) और नॉन-काइनेटिक (जैसे साइबर, इलेक्ट्रॉनिक, मनोवैज्ञानिक) दोनों प्रकार की कार्रवाई शामिल है, जिससे आतंकवादी और उनका ढांचा नष्ट किया जा सके। जो भी ताकतें इस लक्ष्य में बाधा डालेंगी, वह भी भविष्य में वैध लक्ष्य होंगी। इसके लिए हमें 24×7, 365 दिन की ऑपरेशनल तैयारी रखनी होगी, ताकि त्वरित प्रतिक्रिया दी जा सके। अगर ऑपरेशन शीघ्र शुरू होते हैं, तो अधिक विकल्प खुले रहते हैं, जो समय के साथ बंद हो जाते हैं।
हमारे लिए ज़रूरी होगा कि हम पाकिस्तान की संपूर्ण निगरानी करें (ISR – Intelligence, Surveillance, Reconnaissance), सटीक और लंबी दूरी तक वार करने की क्षमता बनाए रखें। वायु रक्षा, इलेक्ट्रॉनिक युद्ध, ड्रोन-रोधी प्रणालियों में दक्षता बढ़ाएं।
पाकिस्तान ने परमाणु हथियार प्राप्त कर लिए, तो उसे लगा कि भारत का पारंपरिक सैन्य दबदबा खत्म हो गया। फिर उसने “हज़ार घावों से भारत को रक्तस्राव” करने की नीति अपनाई।
उन्होंने कहा कि हमने उरी, पठानकोट, पुलवामा जैसे हमले देखे, जिनमें सैनिकों को निशाना बनाया गया। भारत के संयम को उनकी कमजोरी माना गया। लेकिन फिर, भारतीय सशस्त्र बलों ने एक डायनामिक रिस्पॉन्स स्ट्रैटेजी अपनाई, जिसमें यह मान लिया गया कि आतंक और परमाणु युद्ध के बीच एक जगह है, जहां हम सख्ती से जवाब दे सकते हैं। ऑपरेशन सिंदूर ने इस धारणा को सिद्ध कर दिया। अब समय है कि इसे एक औपचारिक सैन्य सिद्धांत बनाया जाए।
CDS ने कहा कि हमने 1965, 1971 जैसे युद्ध देखे, तब विजय के मानक होते थे। कितनी जमीन जीती गई, कितने सैनिक बंदी बनाए गए, कितने हथियार नष्ट किए गए। लेकिन ऑपरेशन सिंदूर ने इन मानकों को बदल दिया। अब नई विजय की परिभाषा है। स्पीड और टेंपो-तेज़ी और तालमेल से कार्रवाई। मल्टी-डोमेन ऑपरेशन्स-ज़मीन, आसमान, साइबर, स्पेस, सभी में एक साथ लड़ाई। सटीकता, समयबद्धता और स्ट्राइक के बाद प्रभाव का मूल्यांकन… अंत में हमारे सामने जो चुनौतियां हैं, वे स्थायी हैं। ऑपरेशन सिंदूर केवल अस्थायी रूप से रुका है। अनिल चौहान ने कहा कि “न्यू नॉर्मल” की यह दिशा, भारत को एक मजबूत, आत्मनिर्भर और सुरक्षित राष्ट्र बनाने की ओर ले जाएगी।

 

मैहर। शिक्षा के मंदिर को कलंकित करने वाली एक चौंकाने वाली घटना रामनगर से सामने आई है। पीएम श्री कन्या विद्यालय रामनगर में सोमवार को विद्यालय के प्राचार्य प्राचार्य संतोष पटेल द्वारा तीन छात्राओं की बेरहमी से पिटाई किए जाने का मामला सामने आया है।
घटना के बाद छात्राएं बेहोश होकर गिर पड़ीं, जिनमें से एक छात्रा का हाथ टूटने की जानकारी मिली है। जानकारी के मुताबिक विद्यालय की तीन छात्राओं ने कक्षा में किसी मामूली गलती पर माफी मांगी थी, लेकिन प्राचार्य का गुस्सा इतना बढ़ गया कि उन्होंने छात्राओं को बुरी तरह पीटना शुरू कर दिया।
प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार, पिटाई इतनी क्रूर थी कि छात्राएं बेहोश होकर जमीन पर गिर गईं। विद्यालय परिसर में हडक़ंप मच गया। अन्य शिक्षक और छात्राएं भयभीत हो गईं। इस घटना से अभिभावकों और क्षेत्रवासियों में गुस्सा है। लोगों ने मांग की है कि आरोपी प्राचार्य को तत्काल निलंबित कर कठोर कार्रवाई की जाए। वहीं विद्यालय प्रबंधन ने भी मामले की आंतरिक जांच शुरू कर दी है।
घटना की जानकारी मिलते ही प्रशासन हरकत में आ गया। एसडीएम मैहर अनामिका सिंह के निर्देश पर तहसीलदार रामनगर मौके पर पहुंचे, जहां उन्होंने घायल छात्राओं का बयान दर्ज किया। छात्राओं के स्वास्थ्य परीक्षण के लिए उन्हें सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र भेजा गया।
एक छात्रा के हाथ में फ्रैक्चर की पुष्टि डॉक्टरों ने की है। तहसीलदार ने बताया कि घटना की रिपोर्ट तैयार की जा रही है और जिला शिक्षा अधिकारी को विस्तृत प्रतिवेदन भेजा जाएगा। उन्होंने कहा, "छात्राओं के कथन लिए गए हैं। प्रारंभिक जांच में प्राचार्य की मारपीट की पुष्टि हुई है। मामले की पूरी जानकारी वरिष्ठ अधिकारियों को दी जा रही है।"
सूत्रों के अनुसार, आरोपी प्राचार्य प्राचार्य संतोष पटेल पहले कस्तूरबा गांधी छात्रावास के प्रभारी रह चुके हैं। उनके खिलाफ पहले भी छात्राओं के साथ अभद्रता और अनुचित व्यवहार के आरोप लग चुके हैं, जिसके चलते उन्हें उस पद से हटाया गया था। बताया जा रहा है कि इस कार्रवाई से आहत होकर उन्होंने विद्यालय में छात्राओं के प्रति क्रूरता दिखाई।

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दिलीप बिल्डकॉन के ठिकानों पर इनकम टैक्स का छापा, 5 जगहों पर कार्रवाई, टैक्स चोरी के आरोप
भोपाल। राजधानी भोपाल में आयकर विभाग ने बड़े पैमाने पर कार्रवाई की है। दिलीप बिल्डकॉन लिमिटेड के विभिन्न ठिकानों पर इनकम टैक्स की टीमों ने छापेमारी की, जिसमें कोलार क्षेत्र (भोपाल) और इंदौर के पीथमपुर समेत कुल पांच प्रमुख स्थानों को निशाना बनाया गया। यह कार्रवाई कथित तौर पर आयकर चोरी के मामलों से जुड़ी है, और जांच अभी भी जारी है।दिलीप बिल्डकॉन, जो एक प्रमुख इंफ्रास्ट्रक्चर और कंस्ट्रक्शन कंपनी है और भोपाल में ही मुख्यालय रखती है, के खिलाफ यह छापा सुबह से चल रहा है।
सूत्रों के अनुसार, टीमों ने कंपनी के ऑफिस, आवासीय संपत्तियों और संबंधित व्यवसायिक स्थानों पर दस्तावेजों, वित्तीय रिकॉर्ड्स और अन्य सामग्री की तलाशी ली। कोलार में कंपनी के एक प्रमुख यूनिट पर फोकस किया गया, जबकि पीथमपुर (इंदौर) में औद्योगिक इकाई को टारगेट बनाया गया। अन्य तीन स्थानों में भोपाल के एमपी नगर और इंदौर के सुपर कॉरिडोर क्षेत्र शामिल हैं। यह छापा टैक्स चोरी, अवैध लेन-देन और ब्लैक मनी के आरोपों पर आधारित है। अब तक की जांच में कुछ दस्तावेज और रिकॉर्ड जब्त किए गए हैं, फिलहाल कार्रवाई जारी है।
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बड़ी खबरः पुलिसकर्मियों को चकमा देकर थाने से भागे 2 आरोपी, मचा हड़कंप
जबलपुर। मध्यप्रदेश के जबलपुर में पुलिसकर्मियों को चकमा देकर थाने से दो आरोपी के भागने की सनसनीखेज खबर सामने आई है। आरोपियों के भागने की खबर से पुलिस महकमे में हड़कंप मच गया। पुलिस ने अभिरक्षा से भागने का मामला दर्जकर आरोपियों की तलाश में जुट गई है।
दरअसल मामला घमापुर थाने का है। गोहलपुर थाने में दर्ज मामले में दोनों आरोपियों को गिरफ्तार किया गया था। आरोपी विवेक कुशवाहा और अंकित केवट उर्फ अंकी पर मामला दर्ज था।
घमापुर थाना पुलिस ने आरोपियों को गिरफ्तार किया था। पुलिस थाने में बिठा आरोपियों से पूछताछ कर रही थी। दोनों आरोपी एक युवक पर बेरहमी से मारपीट के मामले में फरार थे। भीड़ का फायदा उठाकर दोनों आरोपी थाने से फरार हो गए। घमापुर थाना पुलिस ने अभिरक्षा से भागने का मामला दर्ज कर आरोपियों की तलाश शुरू कर दी है।

रतलाम देशभर में नशे की सौदागरी तेजी से फल-फूल रही है। देशभर में आए दिन हो रही कार्रवाईयों के बावजूद नशे का कारोबार बढ़ता ही नजर आ रहा है। इसी कड़ी में 'नशे के विरुद्ध अभियान' के तहत मध्य प्रदेश के रतलाम जिले में केंद्रीय नारकोटिक्स डिपार्टमेंट ने जावरा और गरोठ पुलिस के साथ मिलकर संयुक्त कार्रवाई करते हुए पंजाब से लाई जा रही नशे की बड़ी खैप का भांडाफोड़ किया है।
नारकोटिक्स टीम ने गोपनीय सूचना पर जिले से गुजरने वाले दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेस-वे पर ग्राम बरडि़या आमरा, तहसील गरोठ जिला मंदसौर से एक ट्रक में तस्करी के लिए जा रहे 52 बोरियों में भरा करीब 1500 किलो ग्राम अफीम भूसा बरामद किया है। खास बात ये है कि, अफीम को आलू चिप्स के पैकेट और बरियों में बड़ी चालाकी से छिपाकर ले जाया जा रहा था। विभाग के अनुसार, असम या पंजाब के फर्जी रजिस्ट्रेशन नंबर वाले एक टाटा ट्रक में ताल क्षेत्र से पंजाब की ओर अवैध अफीम का भूसा ले जाया जा रहा है।
सूचना के आधार पर जावरा की रोकथाम टीम को रवाना किया गया। बाद में सूचना मिली कि संदिग्ध ट्रक दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेस-वे पर मध्य प्रदेश की सीमा के निकास क्रमांक-3 को पार कर चुका है, जिसके बाद गरोठ पुलिस से सहयोग लिया गया। गरोठ की टीम ने संदिग्ध ट्रक को मेवात ढाबा के सामने खड़ा पाया। इसके बाद जावरा की टीम भी वहां पहुंची और दोनों टीमों ने लगभग डेढ़ घंटे तक गुप्त रूप से निगरानी की। जब कोई व्यक्ति वाहन के पास नहीं आया, तब अधिकारियों ने आगे बढ़कर वाहन की जांच की। तलाशी के दौरान ही 52 बोरियों में भरी 1400.930 किलोग्राम अफीम भूसा बरामद किया, जो आलू चिप्स के आवरण माल के नीचे छिपाया था।
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भोपाल में बिलखिरिया के पास 100 मीटर सड़क धंसी, एक लेन का ट्रैफिक रोका
भोपाल के बिलखिरिया इलाके में सोमवार दोपहर बड़ा हादसा टल गया। रेलवे ट्रैक के पास लगभग 100 मीटर सड़क धंस जाने से एक ओर का रास्ता बंद कर दिया गया है। सौभाग्य से घटना के वक्त सड़क पर कोई वाहन या व्यक्ति मौजूद नहीं था, अन्यथा बड़ा नुकसान हो सकता था। सड़क मध्यप्रदेश रोड डेवलपमेंट कार्पोरेशन (MPRDC) के अधिकार क्षेत्र में आती है, जिसे लेकर विभागीय जिम्मेदारी पर भी सवाल उठने लगे हैं।
घटना सोमवार दोपहर 12 से 1 बजे के बीच बिलखिरिया के पास हुई। यह सड़क मंडीदीप से ईंटखेड़ी की ओर जाती है और रेलवे ट्रैक के ठीक पहले ब्रिज के पास करीब 100 मीटर का हिस्सा अचानक धंस गया। धंसने के बाद सड़क के एक तरफ का हिस्सा पूरी तरह बंद कर दिया गया है। स्थानीय लोगों ने बताया कि कुछ दिनों से सड़क पर दरारें दिखाई दे रही थीं, लेकिन मरम्मत का कोई इंतजाम नहीं किया गया। धंसाव इतना गहरा है कि वाहन चालकों को अब वैकल्पिक मार्ग से होकर गुजरना पड़ रहा है।
धंसी हुई यह सड़क एमपीआरडीसी (MPRDC) के अंतर्गत आती है और यह मार्ग भोपाल से इंदौर, होशंगाबाद, जबलपुर, जयपुर, मंडला और सागर को जोड़ता है। ऐसे में यह हिस्सा राज्य के प्रमुख यातायात मार्गों में से एक माना जाता है। सड़क धंसने के बाद भारी वाहनों की आवाजाही पूरी तरह रोक दी गई है, जबकि छोटे वाहनों को डायवर्ट कर अन्य मार्गों से भेजा जा रहा है। ट्रैफिक पुलिस और प्रशासन की टीमें मौके पर पहुंचकर स्थिति का जायजा ले रही हैं।
शुरुआती जांच में यह माना जा रहा था कि यह सड़क राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (NHAI) के तहत आती है, लेकिन बाद में NHAI ने स्पष्टीकरण जारी करते हुए कहा कि यह सड़क उनके अधिकार क्षेत्र में नहीं है। एक अधिकारी ने बताया- सूखी सेवनिया के तहत बिलखिरिया की ओर से आने वाले ग्राम कल्याणपुर रेलवे ब्रिज से करीब 100 मीटर आगे सड़क धंसने की घटना हुई है। यह सड़क NHAI की नहीं बल्कि मध्यप्रदेश रोड डेवलपमेंट कार्पोरेशन (MPRDC) के अधीन है।
घटना की सूचना मिलते ही MPRDC और जिला प्रशासन की टीमें मौके पर पहुंचीं और निरीक्षण किया। सुरक्षा कारणों से सड़क के धंसे हिस्से को पूरी तरह बैरिकेड कर बंद कर दिया गया है। अधिकारियों ने कहा कि मिट्टी के कटाव और जलभराव के कारण यह हादसा हुआ हो सकता है।
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लोकायुक्त की बड़ी कार्रवाई, 3 हजार की रिश्वत लेते ASI रंगे हाथ गिरफ्तार
शहडोल। जिले के धनपुरी नगरपालिका में सोमवार को लोकायुक्त रीवा टीम ने बड़ी कार्रवाई करते हुए सहायक उप निरीक्षक (एएसआई) इंद्र बहादुर सिंह उर्फ आईबी सिंह को रिश्वत लेते रंगे हाथ गिरफ्तार किया। एएसआई 3 हजार रुपए की रिश्वत वार्ड नंबर 2 के निवासी योगेंद्र वर्मा से भवन निर्माण की स्वीकृति के लिए ले रहा था। लोकायुक्त की इस कार्रवाई से पूरे नगरपालिका परिसर में हड़कंप मच गया।
जानकारी के अनुसार, पीड़ित योगेंद्र वर्मा ने अपने घर के निर्माण के लिए नगरपालिका से अनुमति के लिए आवेदन किया था। इस दौरान एएसआई इंद्र बहादुर सिंह ने उससे 10 हजार रुपए की रिश्वत की मांग की। काफी मोलभाव के बाद राशि 5 हजार रुपए तय हुई, जिसमें से 2 हजार रुपए पहले ही दिए जा चुके थे। शेष 3 हजार रुपए की दूसरी किस्त देने के समय ही लोकायुक्त ने जाल बिछाया और एएसआई को रंगे हाथ गिरफ्तार कर लिया।
लोकायुक्त रीवा की 15 सदस्यीय विशेष टीम ने शुक्रवार को धनपुरी नगरपालिका कार्यालय में दबिश दी। टीम ने मौके से रिश्वत की रकम बरामद की और आरोपी एएसआई को हिरासत में ले लिया। कार्रवाई के दौरान परिसर में मौजूद कर्मचारियों में अफरा-तफरी मच गई, कई लोग कार्यालय से भाग निकले।
सूत्रों के अनुसार, इस घोटाले में एएसआई के साथ नगरपालिका का स्थायी कर्मचारी रज्जन चौधरी भी शामिल था। लोकायुक्त टीम ने दोनों के खिलाफ भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम के तहत मामला दर्ज किया है। फिलहाल दोनों से पूछताछ जारी है ताकि रिश्वतखोरी के नेटवर्क के अन्य सदस्यों तक पहुंचा जा सके।
लोकायुक्त की इस अचानक कार्रवाई से नगरपालिका में हड़कंप मच गया। कई कर्मचारी मौके से गायब हो गए, वहीं कुछ ने दस्तावेज़ों को छिपाने का प्रयास किया। स्थानीय नागरिकों ने बताया कि धनपुरी नगरपालिका में लंबे समय से भ्रष्टाचार और मनमानी चल रही थी। लोगों को छोटे-छोटे कामों के लिए भी रिश्वत देनी पड़ती थी।

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गरिमा के जन्म के 15 मिनिट बाद का फोटो
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गरिमा के 1 वर्ष बाद का फोटो
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गरिमा के 2 वर्ष बाद का फोटो
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बीमार होने के बाद भोपाल अस्पताल मे भर्ती गरिमा
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